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जालंधर। (FIR against Congress councilor who attacked BJP leader Kishan Lal Sharma) मतगणना केंद्र से बाहर निकलते हुए भाजपा नेता किशन लाल शर्मा से मारपीट और कपड़े फाड़ने के मामले में पुलिस ने कांग्रेसी पार्षद समेत लगभग 10 लोगों पर केस दर्ज कर लिया है। समाचार लिखे जाने तक किसी की गिरफ्तारी की सूचना नहीं थी।
जानकारी के मुताबिक दोपहर बाद जब जालंधर नार्थ विधानसभा हल्का की काउंटिंग खत्म होने पर जब नार्थ से भाजपा प्रत्याशी किशन देव भंडारी और भाजपा नेता किशन लाल शर्मा बाहर आ रहे थे।
इस दौरान वहां मौजूद कुछ युवकों ने किशन लाल शर्मा के कपड़े फाड़ डाले। इसकी वीडियो वॉयरल हुई। किशन लाल शर्मा ने कानूनी कार्रवाई की मांग को लेकर धरना भी दिया।
भाजपा नेता किशन लाल शर्मा ने पुलिस को दिए ब्यानों में कहा कि वे मतगणना केंद्र से बाहर आ रहा था तो कांग्रेसा पार्षद परमजीत पम्मा, गौरव शर्मा उर्फ नौनी, तेगबीर सिंह उर्फ तेगा, पारस अरोड़ा, सन्नी चौहान उर्फ तोता, मोहित उर्फ मेला, करण कपूर उर्फ कन्नु, मनु कपूर उर्फ मनु, सूरज शर्मा तथा 4-5 अज्ञात युवकों ने उसे घेर लिया।
किशन लाल शर्मा ने आरोप लगाया कि पार्षद पम्मा ने साथियों सहित हमला बोला और धमकाया कि भगवा पाने वालों को मजक चखाओ। इस पर सभी ने उस पर हमला कर दिया। उसका भगवा कपड़ा फाड़ डाला और पहना हुआ जनेऊ देख कर पम्मा ने कहा कि इसका जनेऊ तोड़ कर पंडिताई निकाल दें।
धमकियां देते हुए लोगों ने मार देने की नीयत से उसके साथ मारपीट की और कपड़े फाड डाले। किशन लाल शर्मा ने कहा कि इस दौरान उसके 8000 रूपए तथा सोने की अंगुठी नहीं मिली।

ये है रंजिश

किशन लाल शर्मा ने बताया कि इस वारदात की रंजिश ये है कि वे भाजपा पार्टी का वर्कर है और उस पर हमला करने वाले कांग्रेसी वर्कर हैं।
किशन लाल शर्मा का आरोप है कि उक्त वर्करों ने राजनीतिक शह पर साजिश के तहत उस पर हमला किया और मारपीट की। जनेऊ तोड़ कर धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाई।

परिवार को है खतरा

किशन लाल शर्मा ने पुलिस को दिए ब्यानों में यहां तक कहा है कि अगर उसके परिवार का कोई जानी माली नुकसान होता है तो ये सभी आरोपी जिम्मेदार होंगे।

इन धाराओं के तहत हुआ केस दर्ज

पुलिस ने किशन लाल शर्मा द्वारा लिखवाए गए पार्षद पम्मा व उसके साथियों के खिलाफ थाना बस्ती बावा खेल में धारा 341, 295, 506, 149, 120-बी 323 आई.पी.सी. के अधीन केस दर्ज किया है। समाचार लिखे जाने तक किसी आरोपी की गिरफ्तारी की सूचना नहीं थी।

कुंवर विजय प्रताप सिंह के हस्तक्षेप से हुआ केस दर्ज

अति सुविज्ञ सूत्रों से पता चला है कि पहले पुलिस इस मामले में कार्रवाई को तैयार नहीं थी। जांच के नाम पर मामला टाल मटौल की जा रही थी। लेकिन किशन लाल शर्मा द्वारा इस मामले में अमृतसर से विजय रहे पूर्व आई.पी.एस. अधिकारी कुंवर विजय प्रताप सिंह से बात की और सारी घटना बताई।
कुंवर विजय प्रताप सिंह के हस्तक्षेप से पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ केस दर्ज किया। बता दें कि कुंवर विजय प्रताप सिंह जालंधऱ में बतौर कमिश्नर सेवाएं दे चुके हैं, जिस कारण भाजपा नेता किशन लाल शर्मा से उनकी नज़दीकी संबंध रहे।

 


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