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जालंधर। (university sacks professor over insulting lord ram) पंजाब की निजी यूनिवर्सिटी ने एक सहायक प्रोफेसर को भगवान राम के खिलाफ अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल करने के आरोप में बर्खास्त कर दिया है।
शनिवार को सोशल मीडिया पर सहायक प्रोफेसर गुरसंग प्रीत कौर की टिप्पणी का एक कथित वीडियो सामने आया था, जिसके बाद उन्हें बर्खास्त करने की मांग की गई थी।
यूनिवर्सिटी की तरफ से अपने ऑफिशियल ट्विटर और इंस्टाग्राम अकाउंट पर इस विषय को लेकर खेद जताया गया।

वीडियो से लोग हुए आहत

प्राइवेट यूनिवर्सिटी ने एक बयान में कहा, कि हम समझते हैं कि सोशल मीडिया पर शेयर किए गए वीडियो से कुछ लोग आहत हुए हैं।
इसमें हमारे एक फैकल्टी मेंबर को अपनी निजी राय साझा करते हुए सुना जा सकता है।
उसने कहा, कि हम स्पष्ट करना चाहते हैं कि उनके द्वारा साझा किए गए विचार पूरी तरह से व्यक्तिगत हैं और विश्वविद्यालय उनमें से किसी का समर्थन नहीं करता है।

यूनिवर्सिटी ने पूरी घटना पर जताया खेद

यूनिवर्सिटी ने कहा कि हम हमेशा एक सेक्यूलर यूनिवर्सिटी रहे हैं। यहां सभी धर्मों और आस्था के लोगों के साथ प्यार और सम्मान के साथ समान व्यवहार किया जाता है।
उन्हें तत्काल प्रभाव से सेवा से मुक्त कर दिया गया है। हालांकि, हमें इस पूरी घटना का गहरा खेद है। सहायक प्रोफेसर को शनिवार को बर्खास्त कर दिया गया।

सोशल मीडिया पर भड़का लोगों का गुस्सा

इस पूरे मामले को लेकर सोशल मीडिया पर लोगों का गुस्सा भड़क गया। लोगों ने बॉयकॉट का हैशटैग पर कई ट्वीट किए। इसमें प्रोफेसर का राम को लेकर कही गई बातें के ऑडियो भी ट्वीट किए गए।

विवादित टिप्पणियां करने का आरोप

बताते चलें कि गुरसंग प्रीत कौर ने भगवान राम के प्रति अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल करते हुए कहा था कि रावण अच्छा इंसान था लेकिन राम ने उनके साथ छल किया.
प्रोफेसर यहीं तक नहीं रुकीं, उन्होंने कहा कि सीता के अपहरण का प्लान रावण का नहीं बल्कि राम का था. ऐसा करके राम अपने दुश्मन रावण को जाल में फंसाना चाहते थे.

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