Prabhat Times
नोएडा। (twin-tower-demolition-in-noida) नोएडा के सेक्टर 93 में सुपरटेक एमरॉल्ड सोसाइटी में भ्रष्टाचार की बुनियाद पर बनाये गये ट्विन टावर आज चंद घंटों बाद ध्वस्त हो जायेंगे। इन टावरों को ध्वस्त करने के लिए सभी तैयारियां पूरी हो चुकी हैं।
अभी तक एमरॉल्ड कोर्ट और एटीएस ग्रीन सोसाइटी के सभी 1396 फ्लैटों को पूरी तरह खाली कराया जा चुका है।
फ्लैटों में रहने वाले सभी लोग अपने घरों को छोड़कर यहां से सुरक्षित स्थानों के लिए निकल चुके हैं।
जिसमें से कुछ लोगअपने दोस्तों और रिश्तेदारों के यहां पर गये हैं तो कुछ तीर्थ यात्रा और हिल स्टेशन पर निकल गये हैं।
जबकि कुछ ने यहीं पर होटलों में कमरें किराये पर लिए हैं। कुछ लोगों के ठहरने के लिए आस-पास की अन्य सोसाइटियों में भी व्यवस्था की जा चुकी है।
पुलिस ने पूरे इलाके को अपनी सुरक्षा में ले लिया है और अब टावरों के आस-पास अन्य लोगों के प्रवेश को प्रतिबंधित कर दिया गया है।
आखिरी एक मिनट डिमोलिशन के लिए सबसे अहम
दोपहर 2 बजकर 29 मिनट पर डिमोलिशन एक्सपर्ट चेतन दत्ता ब्लैक बॉक्स से जुड़े हैंडल को 10 बार रोल करेंगे। इसके बाद इसमें लगा लाल बल्ब ब्लिंक करना शुरू करेगा।
इसका मतलब होगा कि चार्जर ब्लास्ट के लिए तैयार है। इसके बाद दत्ता हरा बटन दबाएंगे।
इससे चार डेटोनेटर तक इलेक्ट्रिक वेव जाएगी। इसके बाद 9 से 12 सेकेंड में बिल्डिंग में एक के बाद एक धमाके होंगे।
धमाकों के साथ ही 32 मंजिला इमारत मलबे के ढेर में बदल जाएगी। इस एक मिनट में हुआ घटनाक्रम इतिहास में दर्ज हो जाएगा और देश में सबसे ऊंची इमारत को ध्वस्त करने का रिकार्ड नोएडा के नाम पर दर्ज हो जाएगा।
ट्विन टावर ब्लास्ट पर एडवाइजरी जारी, नोएडा अथॉरिटी ने कहा- कुछ दिन खिड़की रखें बंद, बुजुर्गों को दी ये सलाह
नोएडा के सेक्टर 93A (Noida Sector 93A) स्थित ट्विन टावर (Twin Towers) को आज दोपहर ढाई बजे गिरा दिया जाएगा. टावरों को गिराने की पूरी तैयारी कर ली गई है.
टावर को गिराने के लिए 3700 किग्रा बारूद का इस्तेमाल किया गया है जो महज 12 सेकेंड में टावर को धराशायी कर देगा.
ट्विन टावर गिराए जाने के दौरान आसपास के लोगों को कई स्वास्थ्य संबंधी परेशानियां हो सकती हैं.
गौतमबुद्ध नगर (Gautam Buddha Nagar) के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (Chief Medical Officer) की ओर से इसको लेकर स्वास्थ्य संबंधी सलाह जारी की गई है. इसमें बताया गया है कि ट्विट टावर ध्वस्तिकरण के दौरान….
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आंख, नाक और चेहरे में जलन
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शरीर में दर्द
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सीने में जकड़न
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अनियमित दिल की धड़कन
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खांसी आना
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नाक बहना
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नाक में जकड़न
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जी मिचलाना
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पेट दर्द जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है
इनसे बचने के लिए क्या करें
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सभी खिड़की दरवाजे बंद रखें.
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घर के पूरे फर्श को वेक्यूम क्लीनर या गीली पोछा से पूरी तरह साफ करें.
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ध्वस्तीकरण के बाद घर की सभी चादरों एवं तकिए कवरों को धो दें.
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भोजन व पानी पीने से पूर्व हाथ-पैर एवं नाखूनों को पूर्ण रूप से साफ करें.
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फेस मास्क व आखों के लिए चश्मे का प्रयोग करें.
एडवाइजरी में कहा गया है कि यदि उपरोक्त में से कोई भी लक्षण दिखाई देते हैं तो इस स्थिति में घबराएं नहीं केवल इन नंबर डॉ उबैद- 9415519773 और डॉ. टीकम सिंह- 9650826925 पर सूचना दें.
क्या न करें
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ध्वस्तीकरण के समय और बाद में एवं उसके कुछ देर तक सभी खिड़की, दरवाजे पूरी तरह बंद रखें.
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बिना हाथ,पैर और नाखूनों को साफ किए खाना या पानी न पियें.
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बाहरी भोजन करने से बचें.
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अपने नाखूनों को दांत से काटने से बचें
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घूमने-फिरने से बचें.
दस साल के संघर्ष के अंजम तक पहुंचने की खुशी
सुपरटेक एमरेल्ड सोसायटी की रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन के अध्यक्ष उदयभान सिंह तेवतिया कहते हैं कि डिमोलिशन की वजह से चिंताएं तो बहुत हैं, लेकिन खुशी है कि गैरकानूनी तरीके से बनी इमारतें गिराई जा रही हैं और हमारा दस साल का संघर्ष आज अंजाम तक पहुंचने जा रहा है।
इन टावरों को गिराने का सबसे पहला आदेश अप्रैल 2014 में हाईकोर्ट ने किया था। जिसके बाद एक साल पहले सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया और अब लंबे इंतजार के बाद आखिरकार यह टावर ध्वस्त होने जा रहे हैं।
बिल्डिंग गिरेंगी तो कितना धुआं और धूल निकलेगी, इसका अंदाजा अब तक नहीं है। बच्चों और बुजुर्गों की सेहत पर इसका सबसे ज्यादा बुरा असर होगा।
हमने मीटिंग में नोएडा अथॉरिटी से भी पूछा था कि इस समस्या के लिए आपका क्या प्लान है? उनके पास कोई ठोस जवाब नहीं था।
70 करोड़ बनाने में ढहाने में 20 करोड़ का खर्च
70 करोड़ की लागत से बनी इन इमारतों को मात्र 9 सेकेंड में मलबे में तब्दील कर दिया जाएगा. ट्विन टावरों को गिराने के लिए 3,700 किलोग्राम विस्फोटक लगाया गया है.
जानकारी के मुताबिक, इन्हें ध्वस्त करने में करीब 20 करोड़ रुपये का खर्च आएगा. क्योंकि इसमें बहुत अधिक विस्फोटक, जनशक्ति और उपकरण की आवश्यकता होगी.
नोएडा के सेक्टर 93-A में स्थित इन ट्विन टावरों में एक की ऊंचाई 103 मीटर है, जबकि दूसरे की 97 मीटर है. इन टावरों को ध्वस्त करने में लगभग 267 रुपये प्रति वर्ग फीट की लागत आएगी.
दोनों टावरों का कुल एरिया 7.5 लाख वर्ग फीट बैठ रहा है. जिसको गिराने में 3,700 किलोग्राम विस्फोटक लगाया गया है. विस्फोटकों सहित कुल विध्वंस लागत करीब 20 करोड़ रुपये होगी.
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