Prabhat Times
चंडीगढ़। (Big disclosure about Sidhu Moosewala’s bulletproof vehicle) पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड में बड़ा खुलासा हुआ है. सूत्रों की माने तो पंजाब पुलिस की SIT की जांच में सामने आया है कि मूसेवाला की हत्या से पहले उसकी बुलेटप्रूफ गाड़ी की भी रेकी की गई थी. गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई और गोल्डी बरार के शूटर्स ने जालंधर में जाकर पता किया था कि सिद्धू मूसेवाला की गाड़ी के शीशे कितने MM के है.
सूत्रों के मुताबिक, शूटर्स ने पता किया था कि उसकी बुलेटप्रूफ गाड़ी में पीछे बॉक्स है या नहीं. दरअसल बुलेटप्रूफ गाड़ी जालंधर में तैयार की जाती है और सिद्धू मूसेवाला की गाड़ी भी वही तैयार हुई थी. मूसेवाला की हत्या से पहले फुलप्रूफ प्लान बनाया गया था. ये बात दिल्ली पुलिस की जांच में भी सामने आई है और पंजाब पुलिस की SIT के सूत्रों ने ये बात बताई है.

ऐसे पहुंची शूटरों तक पुलिस

पंजाब पुलिस एक रसीद से शार्प शूटर्स तक पहुंची। यह रसीद हरियाणा के पेट्रोल पंप की थी। जो पुलिस को शार्प शूटर्स की छोड़ी बोलेरो से मिली। पुलिस पेट्रोल पंप तक पहुंची और वहां CCTV फुटेज चेक की। उसमें पुलिस को 2 शार्प शूटर नजर आए।
पुलिस ने इसी रसीद के बाद पड़ताल तेज की। मूसेवाला हत्याकांड का फोकस पंजाब के साथ हरियाणा पर किया। जिसके बाद वहां से कुछ संदिग्ध उठाए। जिनसे पूछताछ के बाद बोलेरो मुहैया कराने वाले पवन बिश्नोई और नसीब खान पकड़े गए। इस मामले में अब तक 10 आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है।

प्रियवर्त फौजी और अंकित सेरसा आए थे नजर

29 मई को मूसेवाला की हत्या के बाद पंजाब पुलिस हाथ-पांव मार रही थी। हालांकि, तुरंत कोई सुराग नहीं मिल रहा था। तभी पुलिस के हाथ शार्प शूटर्स की छोड़ी बोलेरो लगी। वह ऑल्टो में फरार हुए थे। बोलेरो से पुलिस को डीजल भरवाने की एक रसीद मिली।
यह रसीद 25 मई की हरियाणा के फतेहाबाद के बीसला स्थित पेट्रोल पंप की थी। पंजाब पुलिस तुरंत वहां पहुंची। पुलिस ने 25 मई की CCTV फुटेज चेक की तो उसमें हरियाणा के बदमाश प्रियवर्त फौजी और अंकित सेरसा नजर आए।

जनवरी में मूसेवाला की हत्या करने गए थे शूटर

जांच में ये बात तो पहले ही साफ हो चुकी थी कि जनवरी में शूटर्स सिद्धू मूसेवाला की हत्या करने गए थे, लेकिन जब उन्होंने देखा कि मूसेवाला के साथ 8 सुरक्षागार्ड है और सबके पास AK-47 है तो बदमाशों ने अपना प्लान बदल दिया था. सूत्रों की माने तो इसके बाद पूरा प्लान तैयार किया गया कि मूसेवाला कौन सी बुलेटप्रूफ गाड़ी में चलता है.
सिद्धू मूसेवाला की गाड़ी कहां पर तैयार करवाई गई? उसके साथ कौन-कौन रहता है? उनके पास कौन से हथियार है? सूत्रों की माने तो इसलिए लॉरेंस बिश्नोई और गोल्डी बरार ने अपने गुर्गों को AN-94 जैसे अत्याधुनिक हथियार मुहैया करवाए. AN-94 इसलिए कि अगर सिद्धू मूसेवाला बुलेटप्रूफ गाड़ी में हो तो भी उसे निशाना बनाया जाए.

क्या AN-94 राइफल से मूसेवाला की हत्या हुई?

AN-94 असॉल्ट राइफल दो शॉट बर्स्ट ऑपरेशन का ऑप्शन देती है. यानी एक के पीछे एक करके दो गोलियां तेजी से निकलती हैं. जिनके निकलने के समय में माइक्रोसेकेंड्स का अंतर होता है. पुलिस के सूत्रों की माने तो इस राइफल से अगर बुलेटप्रूफ गाड़ी के शीशे पर एक के बाद एक फायर किए जाते तो टूट जाता.
गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई अब 7 दिन की पुलिस रिमांड पर है और पुलिस उससे एक-एक राज उगलवाना चाहती है. सूत्रों के मुताबिक एक बार ये भी प्लान बनाया गया था कि सिद्धू को घर में घुसकर मारा जाए. लॉरेंस के मुताबिक सिद्धू न सिर्फ उसके विरोधी गैंग के साथ जुड़ा हुआ था, बल्कि वो अपने गानों और गानों में हथियारों के इस्तेमाल से हम लोगों को चैलेंज करता था.

जेल में बैठकर लॉरेंस बिश्नोई ने रची थी हत्या की साजिश

सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, सिद्धू मूसेवाला की हत्या की साजिश जेल में बैठे लॉरेंस ने कनाडा में बैठे गोल्डी बराड़ से फोन पर बातचीत करके रची थी. सिद्धू की हत्या की फूलप्रूफ प्लानिंग होने के बाद सबसे पहले लॉरेंस बिश्नोई ने जेल से छूटे अपने भाई अनमोल को गोल्डी बराड़ की मदद से भारत से फरार करवाया.
इतना ही नहीं लॉरेंस ने अपने भांजे सचिन बिश्नोई को भी भारत से गोल्डी बराड़ की मदद से फरार करवाया. सचिन फिलहाल देश के बाहर किसी दूसरे देश में बैठा हुआ है. लॉरेंस का भाई अनमोल और भांजा सचिन जैसे ही देश से फरार हुए दोनों गोल्डी बराड़ के साथ जुड़े और प्लानिंग हुई. फिर पंजाब के मानसा में सिद्धू की हत्या को अंजाम दिया गया

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