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New Delhi नई दिल्ली(government to soon introduce truecaller service) रोजाना आपको कई फर्जी कॉल (Spam Calls) आते होंगे.

कई लोग इन कॉल्स से परेशान भी हो जाते हैं. वहीं कुछ लोग कॉल उठाने से घबराते हैं कहीं स्कैमर का तो नहीं.

दरअसल कुछ लोगों के साथ अनजान कॉल पर स्कैम भी हो चुके हैं. अगर ऐसा पता हो तो क्यों ही कोई स्पैम की कॉल उठाएगा?

अगर आपको कॉल आने से पहले ही पता लग जाए कि कौन आपको कॉल कर रहा है तो कितना आसान हो जाएगा?

जी हां TRAI ने इसका समाधान निकाल लिया है. सरकारी ट्रू कॉलर जैसी सुविधा के लिए ट्राई ने ड्राफ्ट रिकमेंडेशन जारी कर दिया है.

खुदका होगा कॉल उठाने का फैसला

बता दें, जल्द ही यूजर्स जान सकेंगे कि कौन आपको कॉल करने वाला है. कॉल उठाना है या नहीं इसका फैसला करना आसान होगा.

इसके लिए सरकार ने समाधान निकाल लिया है. सरकारी ट्रू कॉलर जैसी सुविधा के लिए ट्राई ने एक ड्राफ्ट रिकमेंडेशन जारी किया है.

मुख्य विशेषताएं इस प्रकार हैं:

  • भारतीय दूरसंचार नेटवर्क में कॉलिंग नेम प्रेजेंटेशन (CNAP) पूरक सेवा शुरू की जानी चाहिए.

  • कॉलिंग लाइन आइडेंटिफिकेशन (CLI) को E.164 के अनुसार असाइन किए गए टेलीफोन नंबर के संदर्भ में कॉलिंग/मूल ग्राहक की पहचान के रूप में पुनर्परिभाषित किया जाना चाहिए.

  • 1TU सिफारिश/आईपी पता और कॉलिंग नाम (CNAM) या कोई अन्य पहचान जैसा कि समय-समय पर लाइसेंसकर्ता द्वारा निर्धारित किया जा सकता है.

  • सभी पहुंच सेवा प्रदाताओं को अपने टेलीफोन ग्राहकों को उनके अनुरोध पर कॉलिंग नेम प्रेजेंटेशन (CNAP) पूरक सेवा प्रदान करनी चाहिए.

  • ग्राहक आवेदन फॉर्म (CAF) में टेलीफोन ग्राहक द्वारा प्रदान की गई नाम पहचान जानकारी का उपयोग CNAP के उद्देश्य के लिए किया जाना चाहिए.

  • भारतीय दूरसंचार नेटवर्क में CNAP के कार्यान्वयन के लिए एक तकनीकी मॉडल का वर्णन किया गया है.

  • सिफारिशों को स्वीकार करने के बाद, सरकार को उपयुक्त कट-ऑफ तिथि के बाद भारत में बेचे जाने वाले सभी उपकरणों में CNAP सुविधा उपलब्ध कराने के लिए उपयुक्त निर्देश जारी करने चाहिए.

  • थोक कनेक्शन और व्यापारिक कनेक्शन रखने वाले ग्राहक संस्थाओं को ग्राहक आवेदन फॉर्म (CAF) में दिखाई देने वाले नाम के स्थान पर अपना ‘पसंदीदा नाम’ प्रस्तुत करने की सुविधा दी जानी चाहिए.

  • ‘पसंदीदा नाम’ कंपनी मामलों के मंत्रालय के साथ पंजीकृत ‘ट्रेडमार्क नाम’, या जीएसटी परिषद के साथ पंजीकृत ‘ट्रेड नाम’, या सरकार के साथ विधिवत पंजीकृत कोई अन्य ऐसा अनूठा नाम हो सकता है, बशर्ते ग्राहक संस्था ऐसे नाम के स्वामित्व को साबित करने के लिए आवश्यक दस्तावेज प्रस्तुत करने में सक्षम हो.

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