Prabhat Times
जालंधर। डिप्स कालेज (को-एजुकेशनल) ढिलवां में विद्यार्थियों को इंटरनेट ऑफ थिंग्स से जुड़ी एप्लीकेशन और बेसिक जानकारी देने के लिए ऑनलाइन सेमिनार का आयोजन किया गया। एआईएमईटीसी के स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नॉलोजी के डीन डॉ. संदीप रंजन मुख्य स्पीकर के तौर पर वैबीनार में शामिल हुए। डॉ. संदीप ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए बताया कि इंटरनेट ऑफ थिंग्स एक तरह की नेटवर्किंग है।
यह नेटवर्किंग के विकास की बड़ी सफलता है। इस तकनीक की मदद से इस्तेमाल होने वाले सभी गैजेट्स और इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों को इंटरनेट के माध्यम से आपस में कनेक्ट किया जा सकता है। इस तकनीक की मदद से सभी स्मार्ट डिवाइस एक दूसरे को डाटा ट्रांसफर कर सकते है। उदाहरण के तौर पर इंटरनेट ऑफ थिंग्स के अंतर्गत आपका एक डिवाइज आपके घर किचन में मौजूद अन्य डिवाइसेस को कमांड दे सकता है।
एक डिवाइस को इंटरनेट के साथ लिंक कर के बाकी डिवाइसेज से अपने अनुसार कुछ भी कार्य करवाया जा सकता है। इसकी मदद से आप सिक्योरिटी, गार्डनिंग, म्यूजिक, ऑटोमोबाइल, किचन सभी डिवाइसेज को एक साथ कनेक्ट करके कई काम कर सकते है।इस सेमिनार में कॉलेज कोर्डिनेटर हरप्रीत कौर, सहायक प्रोफेसर रोहिनी मरवाहा, वैबिनार कोर्डिनटर सहायक प्रोफेसर ऋषि सेठ, सहायक प्रोफेसर गुरप्रीत सिंह, सहायक प्रोफेसर गगन शर्मा, डॉ. सरदुल सिंह व अन्य स्टाफ के सदस्यों व विद्यार्थियों ने भाग लिया।

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